सरकारी कर्मचारियों को बघेल सरकार का तोहफा, पुरानी पेंशन स्कीम पर कैबिनेट ने लिया ये बड़ा फैसला |
सरकारी कर्मचारियों को बघेल सरकार का तोहफा, पुरानी पेंशन स्कीम पर कैबिनेट ने लिया ये बड़ा फैसला |
इस निर्णय के तहत शासकीय सेवकों को 1 नवंबर 2004 के स्थान पर 1 अप्रैल 2022 से ही छत्तीसगढ़ सामान्य भविष्य निधि का सदस्य बनाया जाएगा। वहीं, 1 अप्रैल 2022 से पहले नियुक्त शासकीय सेवकों को एनपीएस में बने रहने अथवा पुरानी पेंशन योजना में शामिल होने के लिए राज्य सरकार ने विकल्प प्रस्तुत किया है…
मुख्यमंत्री भूपेश बघेल की अध्यक्षता में हुई कैबिनेट की बैठक में बड़ा फैसला लिया गया है। एनपीएस खाते में जमा राज्य सरकार और कर्मचारियों के अंशदान को वापस करने से केंद्र सरकार के इंकार के बाद छत्तीसगढ़ (Chhattisgarh) सरकार ने बीच का रास्ता निकाला है। सरकारी कर्मचारियों को पुरानी पेंशन योजना का लाभ देने के लिए छत्तीसगढ़ सरकार ने अप्रैल 2022 से पहले नियुक्त शासकीय सेवकों को एनपीएस में बने रहने अथवा पुरानी पेंशन योजना का विकल्प रखा है। वहीं, अप्रैल 2022 एवं उसके पश्चात नियुक्त होने वाले शासकीय सेवक अनिवार्यतः पुरानी पेंशन योजना के सदस्य होंगे।
पुरानी पेंशन योजना को लेकर छत्तीसगढ़ सरकार ने मंत्री परिषद की बैठक में बड़ा निर्णय लिया है। इस निर्णय के तहत शासकीय सेवकों को 1 नवंबर 2004 के स्थान पर 1 अप्रैल 2022 से ही छत्तीसगढ़ सामान्य भविष्य निधि का सदस्य बनाया जाएगा। वहीं, 1 अप्रैल 2022 से पहले नियुक्त शासकीय सेवकों को एनपीएस में बने रहने अथवा पुरानी पेंशन योजना में शामिल होने के लिए राज्य सरकार ने विकल्प प्रस्तुत किया है। इसके लिए कर्मचारियों को शपथ पत्र प्रस्तुत करना होगा।
शासकीय सेवक द्वारा पुरानी पेंशन योजना का विकल्प रखने पर 1.11.2004 से 31.03.2022 तक एनपीएस खाते में शासन के अंशदान व लाभांश शासकीय खाते में जमा करना होगा। वहीं, इस अवधि में एनपीएस में जमा कर्मचारी अंशदान एवं लाभांश शासकीय कर्मचारियों को एनपीएस नियमों के अंतर्गत मिलेगा। मंत्रिपरिषद के निर्णय के अनुसार सेवानिवृत्त शासकीय सेवकों को भी पुरानी पेंशन योजना का लाभ लेने के लिए एनपीएस में जमा सरकार के अंशदान को शासकीय खाते में जमा कराना होगा।
आईडिया फॉर न्यूज़ के लिए ब्यूरो रिपोर्ट